असम में कार्बी आंगलोंग समझौता, गृह मंत्री अमित शाह बोले- ऐत‍िहास‍िक कदम

बता दें कि कार्बी असम में एक प्रमुजातीय समूह है और यह दशकों से कई गुटों में बटाहुआ है. यह समूह 1980 के दशक से जातीय हिंसा, हत्याओं अपहरण, और लोगों से टैक्सवसूली के काम के लिए जाना जाता रहा है.

न्यूज डेस्क नई दिल्ली: केंद्र सरकार ने आज दिल्ली में गृह मंत्री अमित शाह असम के मुख्यमंत्री हिमंतबिस्वा सरमा की मौजदगी में पांच विद्रोही समूहों के साथ त्रिपक्षीय कार्बी समझौते पर हस्ताक्षर किए. इस समौझौते के बाद अमित शाह ने कहा कि आज असम में ऐतिहासिककार्बी आंगलोंग समझौता हुआ है.

इस समझौते के बाद गृह मंत्री ने ट्वीट करके जानकारी देते हुए कहा कि ऐतिहासिक कार्बी आंगलोंग समझौते पर हस्ताक्षरहुआ है. केंद्र की मोदी सरकार दशकों पुराने संकट को हल करने के साथ साथ असम में शांति बनाए रखने और क्षेत्रीयअखंडता के लिए हमेशा प्रतिबद्ध है. उन्होंने कहा कि कार्बी शांति समझौता असम के इतिहास में सुनहरे शब्दों में लिखाजाएगा.

बता दें कि कार्बी असम में एक प्रमुख जातीय समूह है और यह दशकों से कई गुटों में बटा हुआ है. यह समूह 1980 केदशक से जातीय हिंसा, हत्याओं अपहरण, और लोगों से टैक्स वसूली के काम के लिए जाना जाता रहा है. इस समझौते केबाद पांच से ज्यादा संगठनों के एक हजार से अधिक उग्रवादी हथियारों को त्यागकर मुख्यधारा में शामिल हो गए. गृह मंत्रीने कहा कि केंद्र और असम सरकार उनके पुनर्वास के लिए पूरी तरह से कटिबद्ध है.

गृह मंत्री अमित शाह ने कहा कि यह मोदी सरकार की नीति रही है कि हम अपने द्वारा किए गए वादों के अपने कार्यकाल मेंही पूरा करते हैं. उन्होंने कहा कि असम सरकार कार्बी के विकास के लिए अगले पांच साल में 1000 करोड़ रुपये खर्चकरेगी.

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